पीजीडीएम कोर्स क्या है? PGDM Full Form | फीस, सैलरी, योग्यता, करियर, जॉब

PGDM Course Kya Hai – दोस्तों आज हम आपको पीजीडीएम कोर्स के बारे में जानकारियां प्रदान करेंगे क्योंकि यह एक बहुत अच्छा कोर्स है यह तो आप सभी जानते ही हैं कि पढ़ाई करने के बहुत सारे क्षेत्र है हर किसी का पढ़ाई करने का अपना एक अलग मकसद होता है| बहुत से अभ्यर्थी ऐसे हैं जो डॉक्टर बनना चाहते हैं कुछ इंजीनियर बनना चाहते हैं तो कुछ सरकारी नौकरियां करना चाहते हैं हर एक विद्यार्थी का अपना कैरियर अलग-अलग क्षेत्र में बनाने का सपना होता है उसी में से एक मैनेजमेंट का फील्ड होता है मैनेजमेंट में बहुत अच्छा करियर आप बना सकते हैं इसलिए आज हम पीजीडीएम कोर्स के बारे में आपको सभी जानकारियां विस्तार से प्रदान करेंगे|


हम आपको बताएंगे कि PGDM Course Kya Hai, इसको कैसे करें, PGDM Full Form इस कोर्स को करने में कितना समय लगता है, इसकी फीस कितनी है, पीजीडीएम कोर्स के लिए क्या जरूरी होता है इसकी योग्यता, Syllabus, पीजीडीएम के बाद करियर ऑप्शन, सैलरी और PGDM और MBA में अंतर भी हम आपको बताएंगे इन सभी जरूरी जानकारियों को जानने के लिए हमारे आर्टिकल को अंत तक ध्यानपूर्वक पढ़ें|

PGDM Course Kya Hai

जो अभ्यार्थी यह जानना चाहते हैं कि पीजीडीएम कोर्स क्या है तो उनको हम बता दें कि पीजीडीएम एक डिप्लोमा कोर्स है जो मैनेजमेंट के क्षेत्र में विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध कराया जाता है| विद्यार्थी पीजीडीएम कोर्स करके मैनेजमेंट के क्षेत्र में अपना करियर सुरक्षित कर सकते हैं भारत में ऐसे बहुत से कॉलेज मौजूद है जो पीजीडीएम कोर्स उपलब्ध कराते हैं भारत में All India Council of Technical Education के द्वारा भी PGDM Course प्रदान करवाया जाता है|

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PGDM Course कैसे करें

पीजीडीएम कोर्स करने के लिए आप को 10वीं और 12वीं पास करने के बाद स्नातक को पूरा करना होगा इसके बाद आपको प्रवेश परीक्षा देनी होती है CAT, MAT, XAT, GMAT, IBSAT जैसे Entrance Exam Qualify करने के बाद ही आपको किसी Institute में Admission मिल सकता है|



IIM institute में CAT Score के साथ ग्रुप डिस्कशन और पर्सनल इंटरव्यू का टोटल स्कोर अकाउंट होता है फिर आई आई एम में एडमिशन मिलता है हर इंस्टिट्यूट का अपना अलग-अलग रोल होता है|

पीजीडीएम कोर्स करने के लिए योग्यता

  • पीजीडीएम कोर्स करने के लिए अभ्यार्थी को ग्रेजुएशन पास होना चाहिए|
  • अभ्यार्थी के ग्रेजुएशन में कम से कम 50% अंक होने अनिवार्य हैं|
  • कुछ इंस्टिट्यूट 45% अंक पर भी अपने इंस्टिट्यूट में प्रवेश दे देती है लेकिन कुछ इंस्टिट्यूट 50% अंक पर ही प्रवेश देती है|
  • SC/ST के अभ्यार्थियों के लिए ग्रेजुएशन में 45% अंक होने चाहिए|
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पीजीडीएम कोर्स के प्रकार (Types Of PGDM Course)

PGDM Course तीन प्रकार के होते हैं विद्यार्थी अपनी सुविधा और बजट के अनुसार इन तीनों कोर्स में से किसी को भी चुन सकते हैं|

Full Time PGDM Course

पीजीडीएम कोर्स का यह पहला प्रकार है और यह कोर्स 2 वर्ष का होता है पीजीडीएम कोर्स के इस प्रकार को करने के लिए आपको प्रतिदिन कॉलेज जाना होता है| इसलिए इस पोस्ट को Full Time Post कहा गया है इस कोर्स के लिए फीस बहुत अधिक है जो हर विद्यार्थी के लिए Suitable नहीं है|

Distance PGDM Course

जो व्यक्ति कोई नौकरी कर रहा है और फिर पीजीडीएम कोर्स की पढ़ाई करना चाहता है उसके लिए पीजीडीएम कोर्स एक अच्छा विकल्प है Distance Course में एडमिशन पाने के लिए एंट्रेंस एग्जाम देना होता है और इस कोर्स की फीस 30000 से ₹50000 तक होती है|

Online PGDM Course

यह डिप्लोमा कोर्स ऑनलाइन माध्यम से कराया जाता है इस Diploma Course में आवेदन ऑनलाइन लिया जा सकता है और ऑनलाइन घर बैठे पढ़ाई की जा सकती है| इस डिप्लोमा को करने के लिए न्यूनतम 10000 से 15000 के आसपास खर्च होता है|

PGDM Course Fees

पीजीडीएम (पोस्ट ग्रेजुएट डिप्लोमा इन मैनेजमेंट) कोर्स की फीस संस्थान, स्थान, प्रतिष्ठा और दी जाने वाली सुविधाओं के आधार पर अलग-अलग हो सकती है। पीजीडीएम के लिए कोई निश्चित शुल्क नहीं है क्योंकि यह एक संस्थान से दूसरे संस्थान में भिन्न होता है। हालांकि, औसतन, भारत में एक पीजीडीएम कोर्स की फीस पूरे कार्यक्रम के लिए ₹1 लाख से ₹20 लाख तक हो सकती है। पीजीडीएम पाठ्यक्रम की फीस के बारे में सटीक और अद्यतन जानकारी प्राप्त करने के लिए विशिष्ट संस्थानों के साथ अनुसंधान और जांच करना आवश्यक है।         

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(PGDM Course) पीजीडीएम कोर्स के लिए स्किल्स

पीजीडीएम कोर्स के लिए निम्नलिखित कुछ स्किल्स महत्वपूर्ण हो सकते हैं:

  1. लीडरशिप और टीम मैनेजमेंट: प्रबंधन कोर्स में आपको एक अच्छे नेतृत्व के साथ टीम को कैसे प्रबंधित करना है, ताकि आप संगठन के साथ अच्छी संबंध स्थापित कर सकें।
  2. संगठनात्मक क्षमता: पीजीडीएम कोर्स में, संगठनात्मक क्षमता महत्वपूर्ण होती है, जिसमें आपको संगठन के विभिन्न पहलुओं को समझने, संगठन की आवश्यकताओं को पहचानने और संगठन की प्रगति को सुनिश्चित करने की क्षमता होनी चाहिए।
  3. रणनीति विकास: आपको प्रबंधन कोर्स में रणनीति विकास की जानकारी होनी चाहिए, जिसमें संगठन के लक्ष्यों और उद्देश्यों को प्राप्त करने के लिए कार्रवाई की जानी चाहिए।
  4. संघटन और योजनाबद्धता: संगठन की सफलता के लिए, आपको योजनाबद्धता, संघटन कौशल, और कार्य को नियंत्रित करने की क्षमता होनी चाहिए। आपको संगठन के विभिन्न प्रक्रियाओं, संरचनाओं, और प्रदर्शन की मूल्यांकन करने की क्षमता होनी चाहिए।
  5. विपणन और बिक्री: प्रबंधन कोर्स में, विपणन और बिक्री के मूल सिद्धांतों की समझ और व्यापारी परियोजनाओं के लिए विपणन योजनाओं की तैयारी करने की क्षमता आपके लिए उपयोगी हो सकती है।

MBA और PGDM में अंतर

MBA और PGDM दोनों प्रशिक्षण कार्यक्रम हैं जो व्यवसाय और प्रबंधन क्षेत्र में करियर बनाने के लिए प्रदान किए जाते हैं। हालांकि, इन दोनों के बीच थोड़ा सा अंतर है।

MBA (Master of Business Administration) एक प्रशिक्षण कार्यक्रम है जिसे विभिन्न विश्वविद्यालयों और शिक्षा संस्थानों द्वारा प्रदान किया जाता है। इसे विश्वविद्यालय द्वारा स्वयं प्रबंधित किया जाता है और इसमें सामान्यतः तीन वर्ष की अध्ययनकार्यक्रम की अवधि होती है। MBA कार्यक्रम का विषयवस्तु और पाठ्यक्रम विश्वविद्यालयों के आधार पर भिन्न हो सकता है, लेकिन यह सामान्यतः व्यावसायिक प्रबंधन, मार्केटिंग, वित्तीय प्रबंधन, मानव संसाधन प्रबंधन, और व्यावसायिक रचनात्मकता जैसे विषयों पर ध्यान केंद्रित करता है।

PGDM (Post Graduate Diploma in Management) भी एक प्रशिक्षण कार्यक्रम है, लेकिन इसे अन्य प्रतिष्ठित शिक्षा संस्थानों, विश्वविद्यालयों के अलावा निजी प्रबंध संस्थान द्वारा प्रदान किया जाता है। इसकी मुख्य विशेषता यह है कि यह आईएम (Indian Institute of Management) और अन्य प्रतिष्ठित निजी प्रबंध संस्थानों द्वारा प्रदान की जाती है। PGDM एक प्रशिक्षण कार्यक्रम के रूप में मान्यता प्राप्त किया जाता है और इसमें व्यावसायिक प्रबंधन के विभिन्न क्षेत्रों में विशेषज्ञता विकसित की जाती है। यह छात्रों को व्यावसायिक मानव संसाधन प्रबंधन, मार्केटिंग, वित्तीय प्रबंधन, निवेश, और व्यावसायिक रचनात्मकता जैसे विषयों में विशेषज्ञता प्रदान करता है।

संक्षेप में कहें तो, MBA विश्वविद्यालयों द्वारा प्रदान किया जाता है जबकि PGDM निजी प्रबंध संस्थानों द्वारा प्रदान किया जाता है।

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पीजीडीएम में कौन से सब्जेक्ट होते हैं

पीजीडीएम डिप्लोमा जो एक मैनेजमेंट क्षेत्र का सबसे टॉप लेवल डिप्लोमा है इस डिप्लोमा को करते समय विद्यार्थियों को कौन-कौन से सब्जेक्ट पढ़ने होते हैं या ऐसा कह सकते हैं कि इस डिप्लोमा कोर्स में कौन-कौन से सब्जेक्ट होते हैं इसके बारे में आपको नीचे सभी जानकारी प्रदान की गई है|

PGDM डिप्लोमा में मुख्य तौर पर दो सब्जेक्ट होते हैं|

  1. Core Subjects
  2. Elective subjects

Core subjects

Core subjects अनिवार्य विषय होते हैं जिन्हें विद्यार्थी अपनी मर्जी से नहीं सुन सकता है कहने का तात्पर्य यह है कि पीजीडीएम डिप्लोमा कोर्स करते समय इन सब्जेक्ट को पढ़ना आपके लिए अनिवार्य कर दिया गया है|

भारत के अधिकतर कॉलेजों में पीजीडीएम कोर्स में कोर सब्जेक्ट की लिस्ट इस प्रकार होती है|

  • Managerial economics
  • Finance and accounting
  • Organizational behaviour
  • Research methodology
  • Business ethics and communication

Elective Subjects

Elective Subjects आप अपनी मर्जी से सेलेक्ट कर सकते हैं 2 वर्ष की अवधि में आपको कोई चार सब्जेक्ट को चुनना होता है| प्रत्येक वर्ष 2 इलेक्टिव सब्जेक्ट का चयन करते हुए अपने आवेदन फॉर्म को भरना होता है आप अपनी रुचि के अनुसार किसी भी सब्जेक्ट में रुचि दिखाकर उसका चयन कर सकते हैं|

पीजीडीएम के बाद करियर ऑप्शन

पीजीडीएम कोर्स पूरा करने के बाद आप ऐसे बहुत से फ्रेंड है जिनमें आप कार्य कर सकते हैं कुछ प्रमुख फंड के नाम हम आपको नीचे बताने वाले हैं और उनके बारे में आपको विस्तार से बताएंगे आप अपनी योग्यता अनुसार नीचे बताएंगे पदों में से किसी के लिए भी अप्लाई कर सकते हैं|

Marketing Manager

एक Marketing Manager का काम होता है किसी प्रोडक्ट या कंपनी से जुड़ी मार्केटिंग को मैनेज करना|

Sales Manager

एक सेल्स मैनेजर का कार्य होता है अपने नीचे काम कर रहे सेल्स पर्सन को मेंटल करना ट्रेनिंग देना इसके अलावा सेल्स मैनेजर सेल्स को बढ़ाने के प्लान भी बनाता है और सेल्स पर्सन की अपने प्लान के जरिए सेल्स भी बढ़वाता है|

Supply Chain Manager

PGDM diploma करने के बाद कंपनी में सप्लाई चैन मैनेजर बन सकते हैं और कच्चे माल की खरीदारी से लेकर पक्के माल की बिक्री तक के सारे काम संभालता हैं|

Account Manager

अकाउंट मैनेजमेंट के लिए भी लोगों की अक्सर आवश्यकता पड़ती रहती है ऐसे में आप पीजीडीएम डिप्लोमा करके अकाउंट मैनेजमेंट का कार्य संभाल सकते हैं|

पीजीडीएम के बाद सैलरी

पीजीडीएम के बाद, सैलरी का अनुभव व्यक्ति के काम क्षमता, क्षेत्र, कंपनी और उसके काम के प्रकार पर निर्भर करेगा। पीजीडीएम (डॉक्टरीटेस ऑफ फिलॉसफी) एक उच्चतर शिक्षा पदक है जो विभिन्न विषयों में प्राप्त किया जा सकता है। पीजीडीएम के बाद आप अपने क्षेत्र में एक अध्यापक, शोधकर्ता, प्रोफेसर, विश्लेषणकर्ता, कंसल्टेंट या किसी अन्य स्थान पर काम कर सकते हैं।

  • सामान्यतः, पीजीडीएम धारकों की सैलरी बहुत अधिक होती है जो प्रशासनिक, वित्तीय या प्राविधिक भूमिकाओं में होते हैं। यहां कुछ क्षेत्रों के सामान्य सैलरी दर के उदाहरण दिए गए हैं, लेकिन यह निश्चित नहीं है कि ये सभी क्षेत्रों में सामान्य स्थिति होगी।
  • शिक्षा क्षेत्र: पीजीडीएम वाले शिक्षा क्षेत्र में अध्यापकों की सैलरी आमतौर पर 50,000 रुपये से 1,00,000 रुपये प्रतिमाह के बीच हो सकती है। इसमें आपके पद, विशेषज्ञता, कॉलेज या विश्वविद्यालय का स्तर और क्षेत्र के भी आपूर्ति और मांग का प्रभाव हो सकता है।
  • शोध क्षेत्र: शोध क्षेत्र में पीजीडीएम धारकों की सैलरी बहुत विचारशील हो सकती है। यह उनके काम के प्रकार, विशेषज्ञता और आध्यात्मिक संस्था के आधार पर भिन्न होगी। सामान्य रूप से, शोधकर्ताओं की सालाना सैलरी 60,000 रुपये से 1,50,000 रुपये या उससे भी अधिक हो सकती है।
  • वित्तीय सेक्टर: पीजीडीएम के साथ, आप वित्तीय सेक्टर में काम करने के लिए भी योग्य हो सकते हैं। इस क्षेत्र में आपकी सैलरी वित्तीय संस्था, पद, आपके काम की महत्वता, और अनुभव के आधार पर भिन्न हो सकती है। सामान्यतः, वित्तीय सेक्टर में पीजीडीएम के धारकों की सैलरी 1,00,000 रुपये से 2,50,000 रुपये प्रतिमाह तक हो सकती है।
  • कंसल्टेंसी सेवाएं: पीजीडीएम के बाद, आप अपनी कंसल्टेंसी सेवाएं भी प्रदान कर सकते हैं और अपने अनुभव और विशेषज्ञता के आधार पर क्लाइंटों को दायित्व दे सकते हैं। कंसल्टेंट्स की सैलरी आपके क्षेत्र, क्लाइंटों के संख्या और उपादानों के आधार पर भिन्न होगी। सामान्यतः, एक कंसल्टेंट की सैलरी 1,00,000 रुपये से 3,00,000 रुपये प्रतिमाह तक हो सकती है।

यहां दी गई सैलरी दरें सामान्य रूप से हैं और वास्तविक स्थिति इनसे भिन्न हो सकती है। सैलरी के बारे में अधिक जानकारी प्राप्त करने के लिए, आपको अपने क्षेत्र में काम करने वाले लोगों और कंपनियों के साथ संपर्क करना सुझावित किया जाता है।

PGDM Course Entrance Exam

  • CAT
  • MAT
  • CMAT
  • GMAT
  • NMAT
  • ATMA
  • XAT

PGDM Course के लिए कॉलेज

  • NMIMS University, Maharashtra
  • NDIM Delhi – New Delhi Institute of Management
  • XLRI Jamshedpur – XLRI-Xavier School of Management
  • Welingkar Institute of Management Development and Research, Mumbai
  • SPJIMR, Mumbai
  • Doon Business School, Dehradun
  • PSGIM Coimbatore – PSG Institute of Management
  • MDI Gurgaon – Management Development Institute
  • ITM Navi Mumbai – ITM Business School
  • Best PGDM Government Colleges/Institute
  • IIMs
  • Vaikunth Mehta National Institute of Cooperative Management, Pune
  • Assam Institute of Management, Guwahati
  • IISWBM Kolkata
  • Ch Charan Singh NIAM, Jaipur
  • STEP – HBTI, Kanpur
  • Indian Institute of Plantation Management, Bangalore
  • AIMA Centre for Management Education, Delhi
  • Chandragupt Institute of Management, Patna

FAQ‘s

PGDM Course की अवधि क्या है?

PGDM Course की अवधि 2 वर्ष है|

पीजीडीएम की फीस कितनी होती है?

पीजीडीएम की फीस लगभग एक लाख से 20 लाख तक होती है|

क्या ग्रेजुएशन के बाद पीजीडीएम कोर्स कर सकते हैं?

जी हां ग्रेजुएशन करने के बाद ही पीजीडीएम कोर्स कर सकते हैं|

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