आप लोगो ने अक्सर लोगो से Court Marriage के बारे सुना होगा| लेकिन ऐसे बहुत से लोग हैं| जो कोर्ट मर्रिज के बारे में नहीं जानते हैं| वो कोर्ट मर्रिज का नाम सुनकर सोचते हैं| के कोर्ट मर्रिज होता किया हैं ये कैसे होती हैं और इसको कराता कौन हैं| ये सभी प्रश्न उस व्यक्ति के मन में घूमते हैं| जो कोर्ट मर्रिज के बारे में नहीं जानता हैं| और जो लोग ऐसे हैं| जो कोर्ट मर्रिज के बारे में नहीं जानते हैं| वो हमारे इस लेख के अंत तक बने रहे| और हमारे इस लेख को ध्यानपूर्वक पढ़े ये लेख आपकी जानकारी के लिए बहुत उपयोगी साबित होगा|
(कोर्ट मैरिज) Court Marriage क्या होती हैं
जिन लोगो के मन में ये सवाल उठता हैं के कोर्ट मर्रिज क्या होती हैं| उनको हम बता दे के कोर्ट मैरिज भी एक प्रकार की मैरिज ही होती हैं| लेकिन इस मैरिज में ये फर्क होता हैं| के कोर्ट मैरिज सभी परम्पराओ रीती रिवाजो और बाकी के तामझाम से हटकर होती हैं| कोर्ट मैरिज साधारण रूप से मैरिज अधिकारी के समक्ष होती हैं|
ये शादी किसी भी बालिग़ युवक युवतियों के बीच हो सकती हैं| ये मैरिज किसी भी बालिग़ भारतीय और विदेशी के बीच हो सकती हैं| कोर्ट मैरिज के लिए दोनों पक्षों के बीच की रज़ामंदी ज़रूरी होती हैं| इसमें कोई परम्परा नहीं होती हैं| बस Court Marriage के लिए दोनों पक्षों के बीच रजिस्टर पत्र पर आवेदन प्रस्तुत करना होता हैं|
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कोट मैरिज कैसे करें कोर्ट मैरिज करने की प्रक्रिया क्या है
- कोर्ट मैरिज के लिए रजिस्ट्रार को लिखित में नोटिस भेजना होता है इसमें आवेदनकर्ता को लिखना होता है कि वह शादी करने का इरादा रखते हैं| यहां यह बात भी ध्यान देने योग्य होती है कि युवक-युवती जिस जिले में शादी करना चाहते हैं वहां वह 30 दिन से अधिक निवास कर चुके हो|
- संबंधित रजिस्ट्रार इस नोटिस की एक कॉपी अपने कार्यालय के नोटिस बोर्ड पर लगाते हैं|
- यदि कोई ऐसा व्यक्ति है जिसको इस शादी पर आपत्ति है तो वह 30 दिन के भीतर रजिस्ट्रार के समक्ष आपत्ति जता सकता है|
- यदि रजिस्ट्रार को लगता है कि यह आपत्ति जायज है तो वह शादी की प्रक्रिया समाप्त कर सकता है और अगर ऐसा नहीं है तो शादी की प्रक्रिया को आगे ले जाकर शादी का रजिस्ट्रेशन कर दिया जाता है|
- आवेदक के पास यह अधिकार होता है कि यदि वह चाहे तो रजिस्ट्रार द्वारा आपत्ति को स्वीकार करने के खिलाफ जिला कोर्ट में अपील की जा सकती है| लेकिन यहां भी एक शर्त रखी गई है की यह अपील आपको आपत्ति स्वीकार्य जाने के एक महा यानी 30 दिन के बाद करनी होगी|
- कोर्ट मैरिज से पहले युवक युवती और गवाहों को रजिस्ट्रार के समक्ष एक घोषणापत्र पर हस्ताक्षर करने होते हैं इसमें लिखा होता है कि वे यह शादी बगैर किसी दबाओगे अपनी मर्जी से कर रहे हैं|
- सेक्शन 12 के मुताबिक कोर्ट मैरिज रजिस्ट्रार के कार्यालय उसके निकट किसी स्थान पर हो सकती है और इसके लिए फीस भी निर्धारित की गई है|
- शादी संपन्न हो जाने के बाद रजिस्ट्रार पूरा ब्यौरा भरकर मैरिज सर्टिफिकेट जारी करता है|
कोर्ट मैरिज करने के लिए कुछ शर्ते भी निर्धारित की गयी हैं
- कोर्ट मैरिज करने के लिए युवक युवतियां बालिग होने चाहिए युवक की उम्र 21 वर्ष और युवती की उम्र 18 वर्ष होनी चाहिए|
- मैरिज के लिए लड़की तथा लड़का दोनों की मर्ज़ी होनी चाहिए| दोनों में से कोई भी पक्ष किसी दबाव में आकर कोर्ट मैरिज नहीं कर सकता हैं|
- कोर्ट मैरिज करने से पहले लड़का या लड़की दोनों में से कोई भी शादीशुदा न हो|
- दोनों में से कोई भी मानसिक बीमारी से पीड़ित न हो|
- कोर्ट मैरिज करने के लिए परिवार या फिर माँ बाप की रज़ामंदी ज़रूरी नहीं होती| इसके लिए बस दोनों पक्षों का बालिग होना ज़रूरी होता हैं|
(Court) कोर्ट में शादी कैसे होती हैं
कोर्ट में शादी किसी भी धर्म सम्प्रदाय तथा जाती के बालिग़ युवक और युवती के बीच हो सकती हैं| ये शादी किसी भी भारतीय और विदेशी के बीच हो सकती हैं| कोर्ट मैरिज में किसी भी धर्म को लेकर कोई परंपरा नहीं की जाती हैं| इसके लिए दोनों पक्षों के गवाहों और वर वधु के दस्तखत एक घोषणा पत्र पर होने होते हैं| जिसमे लिखा होता हैं| की ये शादी बिना किसी के दबाव के दोनों पक्षों की मर्ज़ी से हो रही हैं|
कोर्ट मैरिज के लिए युवक और युवती की उम्र कितनी होनी चाहिए
Court Marriage के लिए सरकार द्वारा आयु निर्धारित की गयी हैं|
Marriage करने के लिए युवक और युवती बालिग होने चाहिए|
युवक की आयु 21 वर्ष होनी चाहिए|
और युवती की आयु कम से कम 18 वर्ष या इससे अधिक होनी चाहिए|
कोर्ट मैरिज के लिए अप्लाई करने के नियन
- कोई भी भारतीय कोर्ट मैरिज के लिए अप्लाई कर सकता हैं|
- रजिस्टार को सबसे पहले नोटिस देना होता हैं|
- कोर्ट मैरिज का नोटिस अब माता पिता को नहीं पहुँचता| बल्कि रजिस्टर के ऑफिस में लगता हैं|
Court Marriage करने के लिए आवश्यक दस्तावेज
- कोर्ट मैरिज करने के लिए सही तरीके से भरा हुआ आवेदन पत्र होना चाहिए|
- Court Marriage में जो शुल्क जमा करना अनिवार्य होता हैं वो जमा होना चाहिए|
- युवक तथा युवती दोनों का आयु प्रमाण पत्र|
- दोनों पक्षों में से किसी का भी किसी और के साथ कोई अवैध रिश्ता न हो उसका शपथ पत्र|
- वर तथा वधु दोनों के 4 फोटो|
- तीन गवाहों के पेन कार्ड या आधार कार्ड और फोटो|
- वर तथा वधु दोनों का आधार कार्ड|
कोर्ट मैरिज की फीस कितनी है
- दोस्तों हम आपको बता दे| के कोर्ट मैरिज करने की कोई फीस नहीं होती हैं|
- इसमें कोर्ट मैरिज करने वाले को सिर्फ स्टाम्प ड्यूटी के पैसे देने होते हैं|
- और ये पैसे या तो 50 रूपये भी हो सकते हैं और 100 रूपये भी हो सकते हैं|
कोर्ट मैरिज के बाद तलाक
सभी ज़रूरी जानकारी के साथ हम आपको बता दे| के जो लोग कोर्ट मैरिज करते हैं| वो कोर्ट मैरिज के बाद एक साल तक तलाक नहीं ले सकते हैं| कियोकि कोर्ट कम से कम एक साल अलग अलग रहने पर ही तलाक के आवेदन पर विचार करता हैं| इसलिए कोर्ट मैरिज के कम से कम एक साल बाद ही तलाक लिया जा सकता हैं|
कोर्ट मैरिज के लिए कितने गवाह चाहिए होते हैं
कोर्ट मैरिज के लिए 2 या 3 गवाह चाहिए होते हैं|
गवाहों के साथ उनके कुछ प्रूफ डॉक्यूमेंट जैसे – निवास प्रमाण पत्र पैन कार्ड या आधार कार्ड और फोटो|
Bollywood Celebrity में कोर्ट मैरिज
आज कल लोग शोर शराबे ,धार्मिक परम्पराओ , पैसे की बर्बादी और टाइम बर्बादी न करके सीधे तरीके से की गयी कोर्ट मैरिज को ही पसंद करते हैं| Bollywood के कई सेलिब्रटी ऐसे हैं| जो बड़ी बड़ी शादी न करके कोर्ट मैरिज करना पसंद करते हैं| और कई सेलिब्रेटी ने कोर्ट मैरिज की भी हैं|जैसे- जॉन अब्राहम , पिरिया रुचान , मिनिषा लम्बा , रियान , सेफ अली खान और करीना कपूर|
Conclusion निष्कर्ष
तो बताये प्यारे साथियो कैसी लगी हमारे दुवरा दी गयी कोर्ट मैरिज को लेकर सभी ज़रूरी जानकारी| जो लोग कोर्ट मैरिज के बारे में नहीं जानते थे| हमारे लेख को पढ़कर उनको कोर्ट मैरिज के बारे में सभी बातो का पता चल गया होगा| यदि आप लोग किसी भी टॉपिक को लेकर विस्तारपूर्वक जानकारी चाहते हैं| तो हमे कमेंट बॉक्स में कमेंट करके बता सकते हैं| कियोकि आपकी परेशानी को हल करना हमारा कर्तव्य हैं|