Modem Kya Hai – दोस्तों अपने अक्सर मॉडम का नाम तो सुना ही होगा। आप लोगों को पता होगा कि कंप्यूटर में डेटा और प्रोग्राम डिजिटल रूप में रहता है। जबकि टेलीफ़ोन लाइन में डाटा एनालॉग फॉर्म में होता है। तो मॉडम एनालॉग सिग्नल को डिजिटल फॉर्म में परिवर्तित करने में प्रयोग होता है। अगर आप मॉडम के बारे में संपूर्ण जानकारी प्राप्त करना चाहते हैं तो आप ये आर्टिकल जरूर पढ़ें क्योंकि आज हम आपको इस आर्टिकल में मॉडम के बारे में संपूर्ण जानकारी प्रदान करेंगे जैसे कि मॉडम की फुल फॉर्म, यह कार्य कैसे करता है? मॉडम के लाभ, मॉडम के प्रकार और बहुत कुछ और यदि आपके पास इससे जुड़ा कोई सवाल हो तो आप नीचे कमेंट बॉक्स में लिख सकते हैं।
Modem Kya Hai
मॉडम (Modem) का आविष्कार सबसे पहले डेनिस सी हेस (Dennis C. Hayes) ने किया था। मॉडम का आविष्कार सन 1977 में हुआ था। मॉडम एक ऐसा यंत्र है जो नेटवर्किंग डिवाइस के रूप में प्रयोग होता है। मॉडम एक हार्डवेयर डिवाइस है। मॉडम का प्रयोग एक सिस्टम से दूसरे सिस्टम में संपर्क करने के लिए होता है। ये डिवाइस सिस्टम में संचार करने के लिए टेलीफोन लाइन का प्रयोग करता है। मॉडम डिवाइस को इंटरनेट से कनेक्ट करने में सहायक होता है।
मॉडम फुल फॉर्म
Mo – modulator
Dem – Demodulator
मॉडम का फुल फॉर्म मॉड्यूललेटर डिमॉड्युलेटर है।
मॉडम का कार्य
- मॉडम का कार्य एनालॉग सिग्नल को डिजिटल सिग्नल और डिजिटल सिग्नल को एनालॉग सिग्नल में बदलना होता है। अगर हम दूसरे शब्दों में बताए तो मॉडम एक इनपुट और आउटपुट डिवाइस है। जिसका उपयोग टेलीफोन लाइन पर एक डिवाइस से दूसरे डिवाइस में डाटा ट्रांसफर करने के लिए होता है।
- मॉर्डन बड़े साइज वाले डेटा को कंप्रेस कर देता है इस वजह से डाटा को ट्रांसफर करने में कम समय लगता है।
- मॉडम डेटा के प्रभाव को कंट्रोल करता है।
ज़रूर पढ़े – Internet Se Free Call Kaise Kare |
ज़रूर पढ़े – विडमेट ऐप क्या हैं |
मॉडम के लाभ
- मॉडम एक डिवाइस से दूसरे डिवाइस में डाटा ट्रांसफर करने में मदद करता है।
- ये लेन को इंटरनेट से कनेक्ट करने में सहायक होता है।
- मॉडम की मदद से फ़ैक्स संदेशों को तेज गति के साथ भेजा और रिसीव किया जा सकता है।
मॉडम के प्रकार
मॉडम आठ प्रकार के होते हैं।
एक्सटर्नल मॉडम (External modem)
इस मॉडम को कंप्यूटर सिस्टम के बहारी हिस्से मैं एक केबल की सहायता से जोड़ा जाता है। इस मॉडम को इंस्टॉल करना काफी आसान होता है और ये काफी तेज गति के साथ डाटा को ट्रांसफर करती है।
वायरलेस मॉडम (Wireless modem)
इस मॉडम को कंप्यूटर से कनेक्ट करने के लिए वायर की सहायता नहीं लेनी पड़ती है। यह मॉडम वायरलेस होता है ये मॉडम डेटा को ट्रांसफर करने के लिए रेडियो सिग्नल का उपयोग करता है।
इंटरनल मॉडम (Internal Modem)
ये मॉडम कंप्यूटर के मदरबोर्ड (Motherboard) में इंस्टॉल की जाती है इस मॉडम को इंस्टॉल करना काफी कठिन होता है और ये मॉडम धीमी गति से डाटा को ट्रांसफर करती है।
केबल मॉडम (Cable Modem)
इस मॉडम को सिस्टम के साथ कनेक्ट करने के लिए केबल वायर का प्रयोग करना पड़ता है। इस मॉडम का प्रयोग इंटरनेट सर्विस प्रोवाइडर के द्वारा किया जाता है।
डीएसएल मॉडम (DSL Modem)
डीएसएल मॉडम की फुल फॉर्म डिजिटल सब्सक्राइबर लाइन है इसके द्वारा टेलीफोन लाइन पर डाटा को ट्रांसफर किया जाता है। और ये मॉडम दो प्रकार के होते हैं एडीएसएल मॉडम (ADSL Modem) और एसडीएसएल मॉडम (SDSL Modem)।
सैटेलाइट मॉडम (Satellite Modem)
इस मॉडल के अंतर्गत इंटरनेट कनेक्टिविटी पाने के लिए किसी भी पुकार की टेलीफोन कनेक्शन का प्रयोग नहीं करना पड़ता है और ये मॉडम काफी महंगा होता है। इस मॉडम के अंतर्गत डाटा को ट्रांसफर करने के लिए सैटेलाइट टेक्नोलॉजी का प्रयोग किया जाता है।
हाफ डुप्लेक्स मॉडम (Half duplex modem)
इस मॉडम के अंतर्गत एक समय में केवल एक ही डायरेक्शन में डाटा को ट्रांसफर किया जा सकता है।
फुल डुप्लेक्स मॉडम (Full duplex modem)
इसके अंतर्गत एक समय में दोनों दिशाओं में डाटा ट्रांसफर किया जा सकता है।
ज़रूर पढ़े – गूगल से पैसे कैसे कमाए |
ज़रूर पढ़े – Google Trends क्या है |
मॉडम कार्य कैसे करती है
(Modem) मॉडम में दो प्रकार के अलग होते हैं पहला प्लग सिस्टम केबल वायर के साथ कनेक्ट होता है और दूसरा प्लग वाईफाई रोटर के साथ कनेक्ट होता है। इस प्रकार से मॉडम कार्य करता है।
मॉडम का काम सिग्नल्स को कन्वर्ट करना होता है ताकि डाटा एक जगह से दूसरी जगह टेलीफोन वायर की सहायता से ट्रांसफर हो सके। मॉडम डिजिटल सिग्नल को एनालॉग सिग्नल में और एनालॉग सिग्नल को डिजिटल सिग्नल में चेंज करता है। और सिग्नल को चेंज करने की प्रक्रिया को मोड्युलेट और डी मॉड्यूलेट कहते हैं
Modem की गति
मॉडम को उनकी गति के आधार पर विभाजित किया जाता है Modem की गति या स्पीड को बीपीएस, केबीपीएस, एमबीपीएस से नापा जाता है।
FAQ’s Modem Kya Hai
Ans 1 – मॉडम का आविष्कार सबसे पहले डेनिस सी हेस ने सन 1977 में किया था।
Ans 2 – मॉडम का कार्य एनालॉग सिग्नल को डिजिटल सिग्नल में कन्वर्ट करना और डिजिटल सिग्नल को एनालॉग सिग्नल में कन्वर्ट करना होता है।
Ans 3 – मॉडम 8 प्रकार के होते हैं।
एक्सटर्नल मॉडम (External modem)
वायरलेस मॉडम (Wireless modem)
केबल मॉडम (Cable Modem)
डीएसएल मॉडम (DSL Modem)
सैटेलाइट मॉडम (Satellite Modem)
हाफ डुप्लेक्स मॉडम (Half duplex modem)
फुल डुप्लेक्स मॉडम (Full duplex modem)