ISRO Full Form : वर्तमान समय में दुनिया विज्ञान के क्षेत्र में बहुत आगे बढ़ चुकी है और डिजिटल भी हो चुकी है इस दुनिया के साथ-साथ भारत भी बहुत विकसित हो चुका है भारत इतना विकसित हो चुका है| कि वर्तमान समय में भारत भी अपने खुद के बनाए हुए रॉकेट और उपग्रह को अंतरिक्ष में भेजने के काबिल है जिसके लिए भारत को किसी भी देश की कोई सहायता लेने की आवश्यकता नहीं है| भारत में ऐसे बहुत से स्पेस सेंटर है जो कि नई नई चीजों का अविष्कार करके भारत को इस क्षेत्र में और भी आगे बढ़ाते हैं| जैसे कि अगर हम बात करें इसरो की तो भारत का प्रमुख स्पेस रिसर्च सेंटर का नाम इसरो है दोस्तों आप सभी मित्रों का नाम जरूर सुना होगा
अगर आपको इसरो के बारे में जानकारी नहीं है और आप जानना चाहते हैं कि इसरो क्या होता है और ISRO Full Form क्या है| तो आज के आर्टिकल में हम आपको इसरो की फुल फॉर्म और इसरो से संबंधित सभी जानकारियां विस्तार पूर्वक इस लेख के अंतर्गत प्रदान करेंगे|
इसरो (ISRO) क्या है
इसरो (ISRO) का पूरा नाम “भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन” है, और यह भारत सरकार का अंतरिक्ष अनुसंधान और विकास संगठन है। इसका मुख्य कार्यक्षेत्र भारत के अंतरिक्ष प्रोग्राम को विकसित करना और संचालित करना है। ISRO ने भारत के अंतरिक्ष और साइटी अंतरिक्ष अनुसंधान के कई महत्वपूर्ण प्रोजेक्ट्स को सफलतापूर्वक पूरा किया है, जैसे कि मंगलयान (Mars Orbiter Mission), चंद्रयान (Chandrayaan) मिशन, और अनेक कमरे अंतरिक्ष मिशन।
ISRO ने अंतरिक्ष तक पहुँचाने और निगरानी करने के लिए उपग्रहों का विकसन किया है और साथ ही भूगर्भीय जीवन के लिए अंतरिक्ष तक मानव यात्रा की तैयारी भी कर रहा है। ISRO ने भी आर्थिक सुधार और वैज्ञानिक अनुसंधान क्षेत्र में भी महत्वपूर्ण योगदान दिया है।
जानिए ISRO भारतीय सरकार के अंतरिक्ष और विज्ञान मंत्रालय के तहत काम करता है और भारतीय अंतरिक्ष कार्यक्रम को निर्देशित करता है। इसका मुख्य कार्यालय बेंगलुरु, कर्नाटक, में है, लेकिन यह भारत भर में अनेक अनुसंधान संगठनों और सुविधाओं का सहयोग करता है।
ISRO का फुल फॉर्म क्या है? (ISRO Full Form)
I For | Indian (भारतीय) |
S For | Space (अंतरिक्ष) |
R For | Research (अनुसंधान) |
O For | Organisation (संस्थान) |
इसरो का इतिहास (History of ISRO)
ISRO भारत सरकार का अंतरिक्ष और उपग्रह क्षेत्र में काम करने वाला संगठन है, जो भारत के अंतरिक्ष कार्यक्रम का प्रमुख संचालक है। इसका गठन और विकास भारतीय वैज्ञानिक और अंतरिक्ष वैज्ञानिक विक्रम सराभाई के नेतृत्व में हुआ था।
ISRO का गठन 15 अगस्त 1969 को हुआ था, जब भारत सरकार ने अंतरिक्ष कार्यक्रम की शुरुआत की। विक्रम सराभाई पहले चेयरमैन थे और उन्होंने ISRO की स्थापना की। भारत का पहला स्वायत्त उपग्रह, आर्यभट्ट, 19 अप्रैल 1975 को सफलतापूर्वक गगन में लॉन्च किया गया। यह घटना भारत को अंतरिक्ष उपयोगकर्ता बनाई। इसरो ने अपना पहला उपग्रह उपयोग करके स्लव्या-1 नामक उपग्रह का सफल प्रक्षेपण 19 अप्रैल 1980 को किया। इसरो ने 22 अक्टूबर 2008 को भारत का पहला चंद्रयान मिशन चंद्रयान-1 का प्रक्षिप्ति किया। यह मिशन चंद्रमा की सतह का अध्ययन करने के लिए था।
इसरो ने 5 नवंबर 2013 को मंगलयान मिशन को सफलतापूर्वक प्रक्षिप्ति किया, जिससे भारत ने मंगल की ओर अपना पहला कदम रखा। इसरो ने 22 जुलाई 2019 को चंद्रयान-2 मिशन का प्रक्षिप्ति किया, जिसमें चंद्रमा की दक्षिण पोल पर विकिरण से मूलभूत विज्ञान कार्य करने का प्रयास किया गया। ISRO ने गगनयान मिशन की घोषणा की है, जिसमें मानव अंतरिक्ष यात्रा के लिए भारतीय गगनन को प्रयास करेगा।
ISRO के सैटेलाइट प्रोग्राम
आर्यभट्ट के 1975 में लॉन्च के बाद इसरो ने सफलतापूर्वक कई सैटेलाइट प्रोग्राम को पेश किया जिनमें से पूछ का विवरण निम्नलिखित है|
- आईआरएस सीरीज
- इनसेट सीरीज
- गगन सैटलाइट नेवीगेशन सिस्टम
- Navigation with Indian Constellation (NavIC)
- MetSat-1 आदि
इसरो का मुख्य उद्देश्य एवं कार्य
जैसा कि आप सभी जानते ही होंगे कि इसरो भारत देश के अंतरिक्ष अभियानों को संचालित करने वाली संस्था है| जिसका मुख्य उद्देश्य भारत देश के लिए अंतरिक्ष की गतिविधियों और वैज्ञानिक के विषय में रिसर्च करना है जिससे भारत देश भी अंतरिक्ष स्पेस गतिविधियों में और वैज्ञानिक गतिविधियों में अच्छी पकड़ बना सके|
ISRO के अध्यक्ष कौन है
यदि आप इसरो के अध्यक्ष यानी सीईओ कौन है के बारे में जानना चाहते हैं| तो हम आपको बता दें कि वर्तमान समय में ISRO के चेयरमैन यानी Chief executive officer श्री एस. सोमानाथ (Shri S. Somanath) है इसरो एजेंसी के दसवें अध्यक्ष है और वही वर्तमान में इसरो के CEO भी है और वे इसरो के 10वीं सीईओ बनाए गए हैं|
भारत में इसरो के केंद्र
भारत में इसरो के 6 केंद्र है जिनके बारे में हम आपको नीचे बताने वाले हैं|
- Vikram Sarabhai Space Centre (VSSC) Thiruvananthapuram
- ISRO Satellite Centre (ISAC) Bangalore
- Satishdhavan Space Centre (SDSC-SHAR) Sriharikota
- Fluid nodan system Centre (LPSC) at Thiruvananthapuram Bangalore and Mahendragiri
- Space use centre (SAC) Ahmedabad and National Remote
- Sensing Centre (NRSC) Hyderabad
FAQ’s ISRO Full Form
15 अगस्त 1969 को इसरो की स्थापना की गई|
वर्तमान समय में ही शुरू में 17000 से भी अधिक कर्मचारी कार्य करते हैं जिनमें कई डॉक्टर प्रोफेसर इंजीनियर और वैज्ञानिकों का काम करते हैं|
डॉ विक्रम साराभाई को भारतीय अंतरिक्ष प्रोग्राम का जनक कहा जाता है|
इसरो का मुख्यालय भारत के कर्नाटक राज्य के बेंगलुरु में स्थित है|